जयपुर: राजस्थान में एलडीसी (लिपिक ग्रेड द्वितीय / कनिष्ठ सहायक) भर्ती के दस्तावेज़ सत्यापन की प्रक्रिया 14 मई से शुरू हो गई है। यह प्रक्रिया 28 मई तक चलेगी। इस बार सत्यापन में बड़ी बदलाव किया गया है अब पहली बार बायोमीट्रिक जांच भी की जा रही है। पिछले कुछ समय में कई भर्तियों में ऐसे मामले सामने आए हैं, जहां असली अभ्यर्थियों की जगह डमी यानी फर्जी लोग परीक्षा देने पहुंचे थे। इन मामलों की जांच एसओजी ने की और कई लोगों को पकड़ा भी गया। इसी को ध्यान में रखते हुए अब एलडीसी भर्ती में दस्तावेज़ सत्यापन के दौरान फेस और फिंगरप्रिंट की जांच की जा रही है। इससे यह पता चलेगा कि जो व्यक्ति परीक्षा में बैठा था, वही अब दस्तावेज़ जमा कराने आया है या नहीं।
शिक्षा विभाग इस भर्ती में दस्तावेज़ सत्यापन की जिम्मेदारी निभा रहा है। यह प्रक्रिया जयपुर के मालवीय नगर स्थित महात्मा गांधी राजकीय विद्यालय में चल रही है। यहां रोजाना दो शिफ्ट में सत्यापन हो रहा है—पहली शिफ्ट सुबह 10 बजे और दूसरी शिफ्ट दोपहर 2 बजे से। इस भर्ती में कुल 4197 पदों के लिए 7863 अभ्यर्थियों का सत्यापन होना है। इनमें गैर-टीएसपी क्षेत्र के 3433 और टीएसपी क्षेत्र के 764 पद शामिल हैं।
राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड के सचिव डॉ. भागचंद बधाल ने बताया कि परीक्षा के समय सभी अभ्यर्थियों की बायोमीट्रिक जांच की गई थी। अब उन्हीं रिकॉर्ड्स की मदद से सत्यापन किया जा रहा है। अगर किसी ने फर्जी व्यक्ति से परीक्षा दिलवाई होगी तो वह पकड़ा जाएगा। माध्यमिक शिक्षा निदेशक आशीष मोदी ने कहा कि इस प्रक्रिया से भर्तियों में पारदर्शिता आएगी और फर्जीवाड़ा रुकेगा। यह पहली बार है जब किसी भर्ती में इस तरह की कड़ी जांच हो रही है। यह कदम भविष्य की सभी भर्तियों के लिए एक उदाहरण बनेगा।