राजस्थान के शिव विधानसभा क्षेत्र से विधायक रविन्द्र सिंह भाटी ने 27 अप्रैल 2025 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखकर सिंधु जल समझौते को समाप्त कर पश्चिमी राजस्थान में जल प्रबंधन की दिशा में ठोस कदम उठाने की मांग की है। उन्होंने पत्र में हाल ही में सरकार द्वारा सिंधु जल समझौते को रद्द करने के फैसले का स्वागत करते हुए इसे भारत की सुरक्षा और सामरिक नीति के अनुरूप बताया।
इंदिरा गांधी नहर परियोजना के विस्तार की मांग
भाटी ने अपने पत्र में पश्चिमी राजस्थान विशेषकर बाड़मेर, जैसलमेर और बालोतरा जिलों की गंभीर जल संकट की ओर ध्यान आकर्षित करते हुए कहा कि यह क्षेत्र कृषि और पशुपालन पर आधारित है, लेकिन पानी की भारी कमी के चलते किसान और पशुपालक बुरी तरह प्रभावित हो रहे हैं। उन्होंने इंदिरा गांधी नहर परियोजना का विस्तार गडरारोड़ तक शीघ्र पूरा करने की आवश्यकता जताई, जो पिछले 44 वर्षों से जल की अनुपलब्धता के चलते लंबित पड़ा है।
भूजल स्तर तेजी से गिर रहा है
उन्होंने यह भी बताया कि इस क्षेत्र में रिन्यूएबल एनर्जी प्रोजेक्ट्स – विशेष रूप से सोलर पॉवर प्लांट्स – तेजी से विकसित हो रहे हैं, जिनमें पानी की भारी खपत हो रही है। इससे भूजल स्तर तेजी से गिर रहा है और स्थानीय नागरिकों को पीने और खेती के लिए पानी नहीं मिल पा रहा है।
सिंधु का पानी पश्चिमी राजस्थान को मिले
विधायक भाटी ने आग्रह किया कि सिंधु और उसकी सहायक नदियों के जल को पश्चिमी राजस्थान की ओर डाइवर्ट कर पेयजल, सिंचाई और औद्योगिकीकरण की जरूरतों को पूरा किया जाए। उन्होंने कहा कि इससे न केवल क्षेत्रीय विकास को बल मिलेगा, बल्कि यह निर्णय देश की अर्थव्यवस्था के लिए भी लाभकारी सिद्ध होगा।